🗓आज का पञ्चाङ्ग🗓
*⛅दिनांक ~ 7सितम्बर 2024*
*⛅दिन ~ शनिवार*
*⛅विक्रम संवत् ~ 2081*
*⛅अयन दक्षिणायन*
*⛅ऋतु ~शरद*
*⛅मास ~भाद्रपद*
*⛅पक्ष ~ शुक्ल*
*⛅तिथि~ गणेशचतुर्थी रात्रि 12:36:4 तक तत्पश्चात पंचमी*
*⛅नक्षत्र - चित्रा दोपहर 12:33:08 तक तत्पश्चात स्वाति*
*⛅योग - ब्रह्म रात्रि 11:15:06 तक तत्पश्चात इंद्र*
*⛅करण~ विष्टि भद्र 17:36:41
तत्पश्चात बव *
*⛅चन्द्र राशि~ तुला*
*⛅सूर्य राशि~ सिंह*
*⛅सूर्योदय~ 06:18:11 *
*⛅सूर्यास्त~ 18:47:16*
*⛅राहु काल-हर जगह का अलग है- प्रातः 09:25 से दोपहर 10:59 तक*
*⛅अभिजित मुहूर्त~ 12:08 - 12:58 शुभ*
*⛅दिशा शूल - पूर्व दिशा में*
*⛅ब्राह्ममुहूर्त - प्रातः 04:45 से 05:31 तक*
*⛅ अभिजीत मुहूर्त - दोपहर 12:08 से दोपहर 12:58 तक*
*⛅निशिता मुहूर्त- रात्रि 12:10 सितम्बर 08 से रात्रि 12:56 सितम्बर 08 तक*
*⛅सर्वार्थ सिद्धि~ योग 12:34 पी एम से 06:17 ए एम, सितम्बर 08*
*⛅चोघडिया, दिन⛅*
काल 06:18 - 07:52 अशुभ
शुभ 07:52 - 09:25 शुभ
रोग 09:25 - 10:59 अशुभ
उद्वेग 10:59 - 12:33 अशुभ
चर 12:33 - 14:06 शुभ
लाभ 14:06 - 15:40 शुभ
अमृत 15:40 - 17:14 शुभ
काल 17:14 - 18:47 अशुभ
*⛅चोघडिया, रात⛅*
लाभ 18:47 - 20:14 शुभ
उद्वेग 20:14 - 21:40 अशुभ
शुभ 21:40 - 23:07 शुभ
अमृत 23:07 - 24:33 शुभ
चर 24:33 - 25:59 शुभ
रोग 25:59 - 27:26 अशुभ
काल 27:26 - 28:52 अशुभ
लाभ 28:52 - 30:19 शुभ
*⛅ व्रत पर्व विवरण - गणेश चतुर्थी (चंद्र दर्शन निषिद्ध, चन्द्रास्त - रात्रि 09.00:53), गणेश महोत्सव प्रारम्भ, सर्वार्थ सिद्धि योग (दोपहर 12:34 से प्रातः 06:17 सितम्बर 08 तक)*
*⛅विशेष - चतुर्थी को मूली खाने से धन-नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)*
*⛅गणेश चतुर्थी के मौके पर कल ब्रह्म योग, सर्वार्थ सिद्धि योग समेत कई शुभ योग बन रहे हैं, जिससे कल का दिन सिंह, तुला, धनु समेत अन्य 5 राशियों के लिए शुभ फलदायी रहने वाला है। साथ ही शनिवार का दिन न्याय के देवता और कर्म के कारक ग्रह शनिदेव को समर्पित है, साथ ही कल गणेश चतुर्थी भी है, जिससे इन 5 राशियों पर गौरी पुत्र गणेश और शनिदेव की विशेष कृपा रहने वाली है।
*⛅ शनिवार का दिन न्याय के देवता और कर्म के कारक ग्रह शनिदेव को समर्पित है, साथ ही कल गणेश चतुर्थी भी है, कुछ राशियों पर गौरी पुत्र गणेश और शनिदेव की विशेष कृपा रहने वाली है।
*⛅ 7 सितंबर दिन शनिवार को चंद्रमा शुक्र ग्रह की राशि तुला पर संचार करने वाले हैं। साथ ही कल भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि है और इस तिथि को गणेश चतुर्थी तिथि के नाम से जाना जाता है। गणेश चतुर्थी पर ब्रह्म योग, सर्वार्थ सिद्धि योग, रवि योग और चित्रा नक्षत्र का शुभ संयोग बन रहा है, जिससे कल के दिन का महत्व और भी बढ़ गया है। ब्रह्मवैवर्त पुराण के अनुसार, जब भगवान गणेश का जन्म हुआ, तो शनि देव भी उनके जन्मदिन के उत्सव में शामिल हुए थे।
ज्योतिष के अनुसार, गणेश चतुर्थी पर पर बन रहे शुभ योग का लाभ सिंह, तुला, धनु समेत अन्य 5 राशियों को मिलेगा। इन राशियों के कल गणेशजी की कृपा से सुख, समृद्धि और सौभाग्य में वृद्धि होगी और सभी तरह की अड़चन से मुक्ति भी मिलेगी। राशियों के साथ कुछ ज्योतिष उपाय भी बताए गए हैं, पुजा व उपायों को करने से कुंडली में शनि ग्रह की स्थिति मजबूत होगी और गणेशजी के साथ शनिदेव का आशीर्वाद भी प्राप्त होगा।
*⛅ नवग्रह पीड़ा निवारण उपाय
आज का विषय हालांकि गणेश चतुर्थी महोत्सव है परंतु आज के इस कली काल युग में बहुत से लोगों को बहुत सारी समस्याओं से सामना करना पड़ रहा है तो उनके कुछ उपाय में आपको बता रहा हूं शायद आपके लिए कामयाब होंगे।
*⛅सूर्य
*⛅1 सूर्य को बली बनाने के लिए व्यक्ति को प्रातःकाल सूर्योदय के समय उठकर लाल पूष्प वाले पौधों एवं वृक्षों को जल से सींचना चाहिए ।
*⛅2 रात्रि में ताँबे के पात्र में जल भरकर सिरहाने रख दें तथा दूसरे दिन प्रातःकाल उसे पीना चाहिए।
*⛅3 ताँबे का कड़ा दाहिने हाथ में धारण किया जा सकता है।
*⛅4 लाल गाय को रविवार के दिन दोपहर के समय दोनों हाथों में गेहूँ भरकर खिलाने चाहिए।
*⛅5 गेहूँ को जमीन पर नहीं डालना चाहिए।
*⛅6 किसी भी महत्त्वपूर्ण कार्य पर जाते समय घर से मीठी वस्तु खाकर निकलना चाहिए।
*⛅7 हाथ में मोली (कलावा) छः बार लपेटकर बाँधना चाहिए।
*⛅8 लाल चन्दन को घिसकर स्नान के जल में डालना चाहिए।
*⛅सूर्य के दुष्प्रभाव निवारण के लिए किए जा रहे टोटकों हेतु रविवार का दिन, सूर्य के नक्षत्र (कृत्तिका, उत्तरा-फाल्गुनी तथा उत्तराषाढ़ा) तथा सूर्य की होरा में अधिक शुभ होते है।
*⛅ चन्द्रमा
1 व्यक्ति को देर रात्रि तक नहीं जागना चाहिए।
2 रात्रि के समय घूमने-फिरने तथा यात्रा से बचना चाहिए।
3 रात्रि में ऐसे स्थान पर सोना चाहिए जहाँ पर चन्द्रमा की रोशनी आती हो।
4 ऐसे व्यक्ति के घर में दूषित जल का संग्रह नहीं होना चाहिए।
5 वर्षा का पानी काँच की बोतल में भरकर घर में रखना चाहिए।
6 वर्ष में एक बार किसी पवित्र नदी या सरोवर में स्नान अवश्य करना चाहिए। सोमवार के दिन मीठा दूध नही खाना चाहिए।
7 सफेद सुगंधित पुष्प वाले पौधे घर में लगाकर उनकी देखभाल करनी चाहिए।
8 चन्द्रमा के दुष्प्रभाव निवारण के लिए किए जा रहे टोटकों हेतु सोमवार का दिन, चन्द्रमा के नक्षत्र (रोहिणी, हस्त तथा श्रवण) तथा चन्द्रमा की होरा में अधिक शुभ होते है।
*⛅मंगल
1 लाल कपड़े में सौंफ बाँधकर अपने शयनकक्ष में रखनी चाहिए।
2 ऐसा व्यक्ति जब भी अपना घर बनवाये तो उसे घर में लाल पत्थर अवश्य लगवाना चाहिए।
3 बन्धुजनों को मिष्ठान्न का सेवन कराने से भी मंगल शुभ बनता है।
4 लाल वस्त्र लिकर उसमें दो मुठ्ठी मसूर की दाल बाँधकर मंगलवार के दिन किसी भिखारी को दान करनी चाहिय।
5 मंगलवार के दिन हनुमानजी के चरण से सिन्दूर लिकर उसका टीका माथे पर लगाना चाहिए।
6 बंदरों को गुड़ और चने खिलाने चाहिए।
7 अपने घर में लाल पुष्प वाले पौधे या वृक्ष लगाकर उनकी देखभाल करनी चाहिए।
8 मंगल के दुष्प्रभाव निवारण के लिए किए जा रहे टोटकों हेतु मंगलवार का दिन, मंगल के नक्षत्र (मृगशिरा, चित्रा, धनिष्ठा) तथा मंगल की होरा में अधिक शुभ होते है।
आगे क्रमशः अगले अंक में.....
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*🌷~यह पंचांग नागौर (राजस्थान) सूर्योदय के अनुसार है।*
*अस्वीकरण(Disclaimer)पंचांग, धर्म, ज्योतिष, त्यौहार की जानकारी शास्त्रों से ली गई है।*
*हमारा उद्देश्य मात्र आपको केवल जानकारी देना है। इस संदर्भ में हम किसी प्रकार का कोई दावा नहीं करते हैं।*
*राशि रत्न,वास्तु आदि विषयों पर प्रकाशित सामग्री केवल आपकी जानकारी के लिए हैं अतः संबंधित कोई भी कार्य या प्रयोग करने से पहले किसी संबद्ध विशेषज्ञ से परामर्श अवश्य लेवें...*
रमल ज्योतिर्विद आचार्य दिनेश प्रेम शर्मा नागौर (राजस्थान)
Mobile. 8387869068
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