यदि कर्म शुभ है तो भविष्य भी श्रेष्ठ होगा
नागौर शहर के रमल ज्योतिर्विद आचार्य दिनेश प्रेम शर्मा को गाजियाबाद के शंकर ज्योतिष एवं वास्तु अनुसंधान केंद्र द्वारा दो दिवसीय राष्ट्रीय ज्योतिष एवं वास्तु सेमिनार में सम्मानित किया गया श्री शर्मा ने बताया कि ग्रह नक्षत्र किसी का भी शुभ या अशुभ नहीं करते मनुष्य को कर्मों के फल है जो ग्रहण का नाम देते हैं जबकि मूलत: ग्रहों को शूभ या अशुभ माना गया है पर हमारे लिए यह जानना जरूरी है कि हमारा भविष्य ही हमारे किए हुए कर्मों से निर्मित होता है जब कर्म शुभ होंगे तो भविष्य अभी श्रेष्ठ रहेगा।
शिव शंकर ज्योतिष अनुसंधान द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में भगवान परशुराम राष्ट्रीय पंडित परिषद ट्रस्ट परिवार के आजीवन सदस्यश्री दिनेश शर्मा को गोल्ड मेडल व प्रशस्ति पत्र एवं मोमेंटो देकर किया सम्मानित किया।
श्री शर्मा को नवदश राष्ट्रीय ज्योतिष एवं वास्तु सेमिनार में सहयोग एवं भारतीय संस्कृति के पुनरुत्थान ज्योतिष एवं मंत्र साधना और वास्तु विज्ञान के विकास क्षेत्र में समग्र विनम्रता पूर्ण उपलब्धियां के लिए प्रशंनीय योगदान हेतु स्मृति चिन्ह मेडल एवं समान पत्र से सम्मानित किया।
ज्योतिष और वास्तु के विद्वान वक्ताओं के द्वाराअपने-अपने विचार प्रस्तुत किए गए।
भगवान परशुराम राष्ट्रीय पंडित परिषद ट्रस्ट के राष्ट्रीय संरक्षक बजरंग लाल शर्मा जयपुर,राष्ट्रीय अध्यक्ष पंडित सुरेश गौड़, सुमेरपुर,राष्ट्रीय महासचिव आचार्य पंडित ओपी शास्त्री जयपुर,राष्ट्रीय संगठन मंत्री आचार्य सुरेश शर्मा दिल्ली,उत्तर प्रदेश प्रभारी डॉ.विनायक पुलह मोदीनगर,गाजियाबाद प्रभारी कृष्ण कुमार शर्मा, राजस्थान प्रभारी हरिप्रसाद गौड़ जोधपुर,राजस्थान प्रदेश अध्यक्ष गिरधारी लाल शर्मा जयपुर, राष्ट्रीय प्रवक्ता आचार्य नारायण लाल शास्त्री जयपुर,उदयपुर प्रभारी एडवोकेट सुनील त्रिपाठी, डॉ.आर.के.शर्मा आगरा, पंडित चेतन प्रकाश, प्रसिद्ध ज्योतिषी महेश जांगिड़, चंद्रशेखर अग्रवाल रमल ज्योतिषी जयपुर, दाधीच,बालकिशन शर्मा,कृष्ण ओम सिंह,जयपुर, ए.के. भार्गव, सहित 400 विद्वानों ने शिरकत की।