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*🔱॥ॐ श्री गणेशाय नमः॥🔱* *🚩मोर मुकुट बंशीवाले की जय* *🕉नमो नित्यं केशवाय च शम्भवे,हनुमते च दुर्गायै सरस्वत्यै नमोनमः।।*🕉🌸*
*🌞शनिवार का पंचांग ~🌞*
*⛅दिनांक - 21अक्टूबर 2023*
*⛅दिन - शनिवार*
*⛅विक्रम संवत् - 2080*
*⛅शक संवत् - 1945*
*⛅अयन - दक्षिणायन*
*⛅ऋतु - शरद*
*⛅मास - आश्विन*
*⛅पक्ष - कृष्ण*
*⛅तिथि - सप्तमी रात्रि 21:52:43 तक तत्पश्चात अष्टमी*
*⛅नक्षत्र - पूर्वाषाढा 19:52:53 तक तत्पश्चात उत्तराषाढा*
*⛅योग - सुकर्मा रात्रि 24:35:12*तक तत्पश्चात धृति*
*⛅ करण गर 10:41:29*
*⛅करण वणिज 21:52:43*
*⛅ चन्द्र राशि धनु till धनु till 25:37:27*
*⛅चन्द्र राशि मकर from 25:37:27*
*⛅ सूर्य राशि तुला*
*⛅रितु शरद*
*⛅आयन दक्षिणायण*
*⛅संवत्सर शोभकृत*
*⛅संवत्सर (उत्तर) पिंगल*
*⛅विक्रम संवत 2080*
*⛅गुजराती संवत 2079*
*⛅शक संवत 1945*
*⛅कलि संवत 5124*
*⛅दिन काल 11:20:52*
*⛅रात्री काल 12:39:43*
*⛅चंद्रोदय 12:55:18*
*⛅चंद्रास्त 23:17:59*
*🌸*सूर्योदय*🌸
*🌸*लग्न तुला 3°12' , 183°12'**🌸*सूर्य नक्षत्र चित्रा*
*🌸चन्द्र नक्षत्र पूर्वाषाढा*
*🌸सूर्योदय 06:39:05*
*🌸सूर्यास्त 17:59:57*
*🌸*दिन काल 11:20:52*
*🌸*रात्री काल 12:39:43*
*🌸*लग्न सूर्योदय*🌸
*तुला 3°12' , 183°12'*
*🌸*मुहूर्त*🌸
*🌸*राहू काल 09:29 - 10:54 अशुभ*
*🌸*यम घंटा 13:45 - 15:10 अशुभ*
*🌸*गुली काल 06:39 - 08:04*
*🌸*अभिजित 11:57 - 12:42 शुभ*
*🌸*दूर मुहूर्त 08:10 - 08:55 अशुभ*
*🌸*वर्ज्यम 27:32 - 29:04 अशुभ*
*🌸*चोघडिया, दिन*🌸
*काल 06:39 - 08:04 अशुभ*
*शुभ 08:04 - 09:29 शुभ*
*रोग 09:29 - 10:54 अशुभ*
*उद्वेग 10:54 - 12:20 अशुभ*
*चर 12:20 - 13:45 शुभ*
*लाभ 13:45 - 15:10 शुभ*
*अमृत 15:10 - 16:35 शुभ*
*काल 16:35 - 17:59 अशुभ*
*🌸*चोघडिया, रात*🌸
*लाभ 17:59 - 19:35 शुभ*
*उद्वेग 19:35 - 21:10 अशुभ*
*शुभ 21:10 - 22:45 शुभ*
*अमृत 22:45 - 24:20*शुभ*
*चर 24:20 - 25:55 शुभ*
*रोग 25:55 - 27:30 अशुभ*
*काल 27:30 29:05अशुभ*
*लाभ 29:05 - 30:40 शुभ*
*🌸*नवरात्रि के सातवें दिन कालरात्रि माँ की पूजा- अर्चना की जाती है। आइए जानते हैं पूजा- विधि, मंत्र*
*🌸*शारदा नवरात्र: सातवें दिन मां कालरात्रि की पूजा*
*शारदा नवरात्रि के सातवें दिन देवी दुर्गा की सातवीं स्वरूप मां कालरात्रि की पूजा होती है। देवी कालरात्रि अकाल मृत्यु से बचाने वाली हैं। इसलिए इन्हें कालरात्रि कहा जाता है। चैत्र नवरात्रि का सातवां दिन २१अक्तुबर 202३, शनीवार को है। नवरात्रि के सातवें दिन को दुर्गा सप्तमी के नाम से भी जानते हैं। इस दिन मां कालरात्रि की पूजन का विधान है।*
*कहते हैं कि इस दिन देवी कालरात्रि दुश्मनों का नाश करती है और भक्तों को मनोवांछित फल प्रदान करती हैं। इसलिए इस दिन देवी की उपसाना में साधक को अपना चित्त भानु चक्र (मध्य ललाट) में स्थिर कर साधना करनी चाहिए। देवी के इस स्वरूप के बारें में शास्त्रों में जो वर्णन मिलता है उसके अनुसार मां कालरात्रि का स्वरूप देखने में अत्यंत भयानक है।*
*मां कालरात्रि अपने भक्तों को हमेशा शुभ फल प्रदान करती हैं। इस वजह से इन्हें शुभंकरी भी कहा गया है। आगे हम जानते हैं कि चैत्र नवरात्रि के सातवें दिन को देवी कालरात्रि की पूजा के मंत्र और आरती क्या हैं।*
*🌸*कालरात्रि प्रार्थना मंत्र*🌸
*एकवेणी जपाकर्णपूरा नग्ना खरास्थिता।*
*लम्बोष्ठी कर्णिकाकर्णी तैलाभ्यक्त शरीरिणी॥*
*वामपादोल्लसल्लोह लताकण्टकभूषणा।*
*वर्धन मूर्धध्वजा कृष्णा कालरात्रिर्भयङ्करी॥*
*🌸*कालरात्रि स्तुति मंत्र*🌸
*या देवी सर्वभूतेषु माँ कालरात्रि रूपेण संस्थिता।*
*नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥*
*🌸*कालरात्रि ध्यान मंत्र*🌸
*करालवन्दना घोरां मुक्तकेशी चतुर्भुजाम्।*
*कालरात्रिम् करालिंका दिव्याम् विद्युतमाला विभूषिताम्॥*
*दिव्यम् लौहवज्र खड्ग वामोघोर्ध्व कराम्बुजाम्।*
*अभयम् वरदाम् चैव दक्षिणोध्वाघः पार्णिकाम् मम्॥*
*महामेघ प्रभाम् श्यामाम् तक्षा चैव गर्दभारूढ़ा।*
*घोरदंश कारालास्यां पीनोन्नत पयोधराम्॥*
*सुख पप्रसन्न वदना स्मेरान्न सरोरूहाम्।*
*एवम् सचियन्तयेत् कालरात्रिम् सर्वकाम् समृध्दिदाम्॥*
*🌸*कालरात्रि स्तोत्र पाठ*🌸
*हीं कालरात्रि श्रीं कराली च क्लीं कल्याणी कलावती।*
*कालमाता कलिदर्पध्नी कमदीश कुपान्विता॥*
*कामबीजजपान्दा कमबीजस्वरूपिणी।*
*कुमतिघ्नी कुलीनर्तिनाशिनी कुल कामिनी॥*
*क्लीं ह्रीं श्रीं मन्त्र्वर्णेन कालकण्टकघातिनी।*
*कृपामयी कृपाधारा कृपापारा कृपागमा॥*
*🌸*कालरात्रि कवच*🌸*
*ॐ क्लींमें* *हदयंपातुपादौश्रींकालरात्रि।*
*ललाटेसततंपातुदुष्टग्रहनिवारिणी॥*
*रसनांपातुकौमारी भैरवी चक्षुणोर्मम*
*कहौपृष्ठेमहेशानीकर्णोशंकरभामिनी।*
*वाजतानितुस्थानाभियानिचकवचेनहि।*
*तानिसर्वाणिमें देवी सततंपातुस्तम्भिनी॥*
*🌸*मांकाल रात्रि का भोग*🌸
*माता कालरात्रि की पूजा सुबह और रात के समय में भी की जाती है। मान्यता है कि मां को रातरानी का फूल बहुत पसंद है। इस दिन माता को गुड़ का भोग लगाया जाता है।*
*नवरात्रि 2023 कलैंडर- इस बार शारदीय नवरात्रि पूरे 9 दिन की है. वैसे कई बार तिथि घटने या बढ़ने से अष्टमी-नवमी तिथि आगे पीछे हो जाती है. लेकिन इस बार किसी तिथि की क्षति या फिर वृद्धि नहीं हो रही है*
*15 अक्टूबर 2023 रविवार: घटस्थापना, शैलपुत्री पूजा*
*16 अक्टूबर 2023 सोमवार, ब्रह्मचारिणी पूजा*
*17 अक्टूबर 2023 मंगलवार, चन्द्रघंटा पूजा*
*18 अक्टूबर 2023 बुधवार, कूष्माण्डा पूजा*
*19 अक्टूबर 2023 गुरुवार, स्कन्दमाता पूजा*
*20 अक्टूबर 2023 शुक्रवार, कात्यायनी पूजा*
*21 अक्टूबर 2023 शनिवार: कालरात्रि पूजा*
*22 अक्टूबर 2023, रविवार , मां महागौरी की पूजा*
*23 अक्टूबर 2023, सोमवार, मां सिद्धिदात्री की पूजा*
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🖌🚩 *_””जय श्री महाकाल महाराज की””_* 🚩
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*यह पंचांग नागौर (राजस्थान)के सूर्योदय के अनुसार है।*
*अस्वीकरण(Disclaimer)पंचांग, धर्म, ज्योतिष, त्योहार की जानकारी शास्त्रों से ली गई है।राशि रत्न,वास्तु आदि विषयों पर यहाँ प्रकाशित सामग्री केवल आपकी जानकारी के लिए हैं।ज्योतिष एक अत्यंत जटिल विषय है, यहां पूरी सतर्कता के उपरांत भी मानवीय त्रुटि संभव, अतः संबंधित कोई भी कार्य या प्रयोग करने से पहले अपने स्वविवेक के साथ किसी संबद्ध विशेषज्ञ से परामर्श अवश्य लेवें...*
*🌞*दिनेश "प्रेम" शर्मा रमल ज्योतिष आचार्य*🌞*
*संपर्क सूत्र:- मोबाइल.* *8387869068*
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